#बिहार शराबबंदी
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rudrjobdesk · 2 years ago
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Bihar Hooch Tragedy Many People Died Due To Poisonous Liquor In Saran Chhapra Ann
Bihar Hooch Tragedy Many People Died Due To Poisonous Liquor In Saran Chhapra Ann
छपरा: जिले के मशरख, इसुआपुर, अमनौर और मढ़ौरा थाना क्षेत्र में जहरीली शराब से अब तक 10 लोगों की मौत की खबर है. इसमें से कुछ की मौत की बात जिलाधिकारी ने कही है लेकिन शराब से मौत की पुष्टि पर कोई कुछ बोलने से बच रहा है. कुछ लोगों ने बीते सोमवार को शराब पी थी तो वहीं कुछ लोगों ने बीते मंगलवार की रात शराब पी है. कहा जा रहा है कि अभी पांच लोग अस्पताल में हैं जिनका इलाज चल रहा है. आंकड़ा और बढ़ भी सकता…
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indlivebulletin · 6 days ago
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बिहार में ये कैसी शराबबंदी? एंटी लिकर टास्क फोर्स के पास पकड़ी गई 32 लीटर शराब, दरोगा समेत 7 गिरफ्तार
बिहार में एक तरफ तो पूरे प्रदेश में शराबबंदी है लेकिन जब शराबबंदी को कायम रखने वाले ही नियम तोड़ने लगे तो कैसे चलेगा. जी हां, बिहार के वैशाली जिले से यह खबर सामने आई है जहां पुलिसकर्मी ही शराब की जब्ती कर कुछ बोतलें अपने पास रख रहे थे और बाकी बेच रहे थे. इसकी शिकायत एसपी से की गई. जिसके बाद दोषी पुलिसकर्मियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करते हुए दरोगा समेत 7 पुलिसकर्मियों को शराब के साथ गिरफ्तार किया…
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rightnewshindi · 9 days ago
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शराबबंदी कानून पर पटना हाई कोर्ट की बड़ी टिप्पणी, कहा, यह कानून नशा तस्करी को दे रहा बढ़ावा, गरीबों की बढ़ी परेशानी
Bihar News: बिहार के शराबबंदी कानून पर पटना हाईकोर्ट ने एक बार फिर सवाल उठाए हैं। हाईकोर्ट ने कहा कि यह कानून शराब और दूसरी गैरकानूनी चीजों की तस्करी को बढ़ावा दे रहा है और गरीबों के लिए परेशानी का सबब बन गया है। यह टिप्पणी करते हुए हाईकोर्ट ने एक पुलिस इंस्पेक्टर को दी गई सजा रद्द कर दी। यह सजा शराबबंदी कानून के तहत उनके इलाके में शराब पकड़े जाने पर दी गई थी। पटना हाईकोर्ट ने क्या कहा हाईकोर्ट…
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viralnewsofindia · 28 days ago
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हमारे ही सहयोग से बनेगी बिहार में अगली सरकार: राहत कादरी
पटना: शरद पवार की एनसीपी बिहार में प्रीपेड मीटर, शराबबंदी एवं सर्वे के मुद्दा को नीतीश कुमार की सुशासन सम्पोषित सरकार के ताबूत का अंतिम कील साबित करने जा रही है। उपर्युक्त बातें बिहार प्रदेश नेशनलिस्ट कांग्रेस पार्टी शरदचंद्र पवार के प्रदेश संयोजक राहत कादरी ने प्रदेश कार्यकारिणी की विस्तारित बैठक को संबोधित करते हुए कहा। बीरचंद पटेल पथ स्थित प्रदेश कार्यालय में आयोजित बैठक में प्रदेश…
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nationalistbharat · 29 days ago
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हमारे ही सहयोग से बनेगी बिहार में अगली सरकार:कादरी
Patna:शरद पवार की एनसीपी बिहार में प्रीपेड मीटर, शराबबंदी एवं सर्वे के मुद्दा को नीतीश कुमार की सुशासन सम्पोषित सरकार के ताबूत का अंतिम कील साबित करने जा रही है।उपर्युक्त बातें बिहार प्रदेश नेशनलिस्ट कांग्रेस पार्टी शरदचंद्र पवार के प्रदेश संयोजक राहत कादरी ने प्रदेश कार्यकारिणी की विस्तारित बैठक को संबोधित करते हुए कहा। बीरचंद पटेल पथ स्थित प्रदेश कार्यालय में आयोजित बैठक में प्रदेश पदाधिकारियों…
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deshbandhu · 1 month ago
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Bihar: Parṭy Ke Naam Ko Lekar Raajad or Jadayuu Aamane-Saamane
पटना। बिहार में शराबबंदी के बावजूद शराब पीने से लोगों की हो रही मौतों के बाद विपक्षी पार्टियां सत्ता पक्ष पर हमलावर हैं। इस बीच, गुरुवार को राजद ने जदयू पर जोरद���र कटाक्ष करते हुए पार्टी का नया नाम दे दिया। इसके बाद जदयू ने भी पलटवार करने में देरी नहीं की।
दरअसल, राजद प्रवक्ता शक्ति सिंह यादव ने गुरुवार को कहा कि जदयू का मतलब ही होता है, जहां दारू अनलिमिटेड उपलब्ध हो। उन्होंने कहा कि जे का मतलब- जहां, डी का मतलब- दारू और यू का मतलब-अनलिमिटेड उपलब्ध। बिहार में कोई ऐसा इलाका नहीं है, जहां शराब उपलब्ध नहीं है। ये हालत तब है, जब बिहार में शराबबंदी लागू है। लोग जहरीली शराब पीकर मौत को गले लगा रहे हैं। बिहार में शराब की समानांतर अर्थव्यवस्था खड़ी हो गई है।
Click to read more: https://www.deshbandhu.co.in/states/bihar-rjd-and-jdu-face-to-face-over-the-name-of-the-party-505758-1
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bihar-ujala · 1 month ago
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Bihar Hooch Tragedy: बिहार में जहरीली शराब से अब तक 37 की मौत, हर दिन बढ़ रहे आंकड़े
Poisonous Liquor : बिहार (Bihar Hooch Tragedy) में हर दिन जिस तरह से जहरीली शराब से मौत के आंकड़े बढ़ रहे हैं, उसी के साथ पता चल रहा है कि अभी भी बिहार (Bihar Hooch Tragedy) में शराबबंदी पूरी तरह से लागू नहीं हो पाई है. इस वक्त देखा जाए तो मृतकों का आंकड़ा 37 तक पहुंच गया है और माना जा रहा है कि यह आंकड़े और भी ज्यादा बढ़ने वाले हैं. शनिवार को दो लोगों की मौत की पुष्टि होने के बाद आंकड़ों में…
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countryinsidenews · 1 month ago
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CIN / राजद सुप्रीमो लालू का बयान- बिहार में शराबबंदी सुपर फ्लॉप है
CIN / राजद सुप्रीमो लालू का बयान- बिहार में शराबबंदी सुपर फ्लॉप है. लालू प्रसाद यादव ने अपने ट्वीट में कहा कि सरकार की वैचारी को नीतिगत इच्छा शक्ति कमजोर है इसी कारण जनप्रतिनिधियों के बजाय चुनिंदा अधिकारियों पर निर्भरता के कारण आज बिहार में शराबबंदी सुपर फ्लॉप साबित हो रही है. सत्ताधारी देवताओं पुलिस और शराब माफियाओं के नापकगढ़ जोड़ने बिहार से 30000 करोड़ से अधिक अवैध शराब का काला बाजार फल फूल…
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dainiksamachar · 8 months ago
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UP के इस अफसर का बिहार में जलवा, 'कड़क' IAS केके पाठक का प्रयागराज से क्‍या है नाता?
बलिया: बिहार में एक IAS अफसर का इन दिनों खूब जलवा है। शिक्षा विभाग के अपर मुख्‍य सचिव केके पाठक को बिहार के मुख्‍यमंत्री नीतीश कुमार ने बड़ी जिम्‍मेदारी सौंपी है। वे अपने कार्यशैली को लेकर लगातार सुर्खियों में रहते हैं। केके पाठक का जन्‍म 1968 में यूपी ��ें हुआ था। 1990 बैच के अधिकारी पाठक ने अपनी पढ़ाई-लिखाई प्रयागराज से की है। उनका परिवार मूलरूप से बलिया का रहने वाला बताया जाता है। वर्ष 2021 में फेम इंडिया मैगजीन ने देश के 50 असरदार ब्‍यूरोक्रेट्स की सूची जारी की थी, जिसमें केके पाठक का नाम भी शामिल था। 1990 में केके पाठक को पहली नियुक्ति बिहार के कटिहार जिले में मिली थी। इसके बाद वह गिरिडीह में एसडीओ रहे। इसके बाद वह बेगूसराय, शेखपुरा और बाढ़ में भी एसडीओ पर तैनात रहे। 1996 में पहली बार केके पाठक डीएम बने और उन्‍हें गिरिडीह में नियुक्‍त किया गया। जब राबड़ी देवी बिहार की मुख्‍यमंत्री थीं, तब पाठक को लालू यादव के गृह जिले गोपालगंज की जिम्‍मेदारी भी मिली। इसी दौरान पहली बार पाठक चर्चा में आए क्‍योंकि उन्‍होंने गोपालगंज में एमपी फंड से बने एक अस्‍पताल का शुभारंभ एक सफाईकर्मी से करवा दिया था। यह फंड गोपालगंज के तत्‍कालीन सांसद और राबड़ी देवी के भाई साधु यादव ने दिया था। केके पाठक के इस फैसले से बिहार में काफी बवाल मचा था। इसके बाद उन्‍हें डीएम के पद से हटाकर वापस सचिवालय बुला लिया गया था। नीतीश कुमार के खास अफसरों में शुमार कहा जाता है कि केके पाठक मुख्‍यमंत्री नीतीश कुमार के चहेते अफसरों शामिल हैं। 2005 में नीतीश की सरकार बनने पर केके पाठक को बड़ा पद मिला। उन्‍हें बिहार औद्योगिक क्षेत्र विकास प्राधिकरण का प्रबंध निदेशक बनाया गया। नीतीश के करीबी अफसर अरुण कुमार के निधन के बाद पाठक को शिक्षा विभाग की जिम्‍मेदारी दी गई। 2010 में केके पाठक केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर चले गए थे। महागठबंधन की सरकार बनने पर नीतीश कुमार ने पाठक को 2015 में दिल्‍ली से वापस बिहार बुला लिया था। 2017 में एक बार फिर पाठक केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर दिल्‍ली भेजे गए। फिर 2021 में वह प्रमोशन के साथ बिहार वापस लौटे। बिहार में शराबबंदी लागू करने की कमान उन्हें ही सौंपी गई। दागदार भी रहा है करियर केके पाठक जहां एक तरफ अपने कड़क फैसलों के लिए जाने जाते हैं, दूसरी तरफ उनका करियर दागदार भी रहा है। 2018 में पटना हाईकोर्ट ने केके पाठक पर 1.75 लाख रुपये का जुर्माना लगाया था। SBI के सात बैंक मैनेजरों ने उन पर मनमानी का आरोप लगाया था। स्टैंप ड्यूटी देर से जमा करने से जुड़े इस मामले में कोर्ट ने आरोप सही पाए थे। पटना हाईकोर्ट में हाजिरी ना लगाने को लेकर वॉरंट से लेकर विभागीय बैठक में अपशब्दों के कथित इस्तेमाल तक केके पाठक के खिलाफ आरोपों की लंबी फेहरिस्त है। http://dlvr.it/T4xpD3
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abhinews1 · 1 year ago
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भागलपुर में ग्राम रक्षा दल सह पुलिस मित्र के द्वारा समाहरणालय परिसर में अपनी मांगों को लेकर एक दिवसीय धरना प्रदर्शन का आयोजन किया गया
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भागलपुर में ग्राम रक्षा दल सह पुलिस मित्र के द्वारा समाहरणालय परिसर में अपनी मांगों को लेकर एक दिवसीय धरना प्रदर्शन का आयोजन किया गया
भागलपुर में,ग्राम रक्षा दल सह पुलिस मित्र के द्वारा समाहरणालय परिसर में अपनी मांगों को लेकर एक दिवसीय धरना प्रदर्शन का आयोजन किया गया। प्रदर्शनकारियों का कहना है कि सरकार के द्वारा चलाई जा रही महत्वाकांक्षी योजनाओं में इन लोगों ने कार्य किया है। और लगातार कार्य कर भी रहे हैं। वही ग्राम रक्षा दल के पुलिस मित्र भागलपुर इकाई के द्वारा प्रदर्शन कर रहे लोगों का कहना है कि सरकार के माध्यम से चलाए गए विभिन्न योजनाओं जैसे बाल विवाह दहेज प्रथा शराबबंदी नशा मुक्ति अभियान स्वच्छता तिरंगा यात्रा अभियान जैसे कई कार्यक्रमों में हम लोगों ने बढ़-चढ़कर अपना सहयोग किया। साथ ही इन लोगों का यह भी कहना है कि पंचायती राज विभाग के प्रधान सचिव मिहिर कुमार सिंह के द्वारा विभागीय साप्ताहिक समीक्षा बैठक के दौरान 7 नवंबर 2022 को पंचायत सरकार भवन में ग्राम रक्षा दल सदस्यों की सुरक्षा कर्मी , सफाई कर्मी के नियोजन हेतु निर्देश दिया गया। वही विशेष कार्य पदाधिकारी के द्वारा षष्टम राज्य वित्त आयोग पटना के द्वारा पंचायत सरकार भवन में सुरक्षाकर्मी और सुरक्षा को लेकर संविदा कर्मियों का नियोजन प्रस्तावित है। लेकिन सरकार की टालमोल रवैया के कारण इन लोगों का नियोजन नहीं किया जा रहा है। इन लोगों का कहना है कि मानदेय, स्थायीकरण, जीवन सुरक्षा बीमा, पंचायत सरकार भवन में नियुक्ति, ग्राम पंचायत में मानव बल की नियुक्ति, नियोजन में प्रथम प्राथमिकता सहित सरकारी नियुक्ति में प्राथमिकता सहित अन्य मांगों को लेकर एक दिवसीय धरना दिया गया। वहीं लोगों का कहना है बिहार सरकार अगर इन लोगों की मांगे पूरी नहीं की जाती है तो इसके लिए चरणबद्ध आंदोलन किया जाएगा।
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appbazar · 1 year ago
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बिहार में नीतीश कुमार सरकार ने शराबबंदी क़ानून में एक बार फिर से बदलाव किया है. यह बदलाव शराबबंदी क़ानून के तहत ज़ब्त किए गए वाहनों को लेकर किया गया है.
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rudrjobdesk · 2 years ago
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Chhapra Hooch Spurious Liquor Tragedy Death 202 After Liquor Ban 2016 In Bihar Abpp
Chhapra Hooch Spurious Liquor Tragedy Death 202 After Liquor Ban 2016 In Bihar Abpp
बिहार के छपरा जिले के मशरख, इशुआपुर, आमनौर और मढ़ौरा प्रखंड के अलग-अलग जगहों पर जहरीली शराब पीने से 39 लोगों की मौत हो गई है. 12 दिसंबर को हुई इस घटना के बाद बिहार में बवाल मचा है. विपक्षी पार्टी जहरीली शराब से हुई मौत पर सीएम नीतीश कुमार का इस्तीफा मांग रही है. दूसरी ओर सदन में नीतीश ने इसका बचाव करते हुए कहा है, कि जो शराब पिएगा, वो मरेगा ही. बिहार में 2016 से शराबबंदी कानून लागू है. इसके…
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prabudhajanata · 2 years ago
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रायपुर। छत्तीसगढ़ में शराबबंदी की कवायद जारी है. प्रदेश में इस साल के अंत में विधानसभा चुनाव होना है. इससे पहले राज्य सरकार घोषणा पत्र में किये वादे शराबबंदी को पूरा करने की तैयारी में है. जिसको लेकर सरकार द्वारा गठित की गई शराबबंदी अध्ययन दल बिहार के लिए रवाना हुई है. बिहार से लौटकर अध्ययन टीम मिजोरम जाएगी. इसकी जानकारी आबकारी मंत्री कवासी लखमा Kawasi Lakhma ने दी है. आबकारी मंत्री कवासी लखमा ने बताया कि अध्ययन टीम अभी बिहार के लिए रवाना हुई है. बिहार के बाद टीम मिजोरम जाएगी. वहां से आने के बाद अध्ययन टीम सरकार को रिपोर्ट सौंपेगी. लखमा ने कहा कि छग में शराब बंदी होगी या नहीं अभी कहना जल्दबाजी होगी. बस्तर के लोग पूजा पाठ में भी शराब का उपयोग करते हैं. बस्तर में शराब बंदी का सवाल ही नहीं उठता. इस दौरान मंत्री लखमा ने भाजपा पर निशाना साधते हुए कहा कि भाजपा शराबबंदी को लेकर गंभीर नहीं है. भाजपा के लोग झूठ बोलने में माहिर हैं, इसलिए बैठक में नहीं आते और कमेटी में मेंबर नहीं भेजते.
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rightnewshindi · 1 month ago
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शराब से मौत पर बिगड़े जीतनराम मांझी के बोल, कहा, 13-14 करोड़ की आबादी है कुछ न कुछ होता रहता है
शराब से मौत पर बिगड़े जीतनराम मांझी के बोल, कहा, 13-14 करोड़ की आबादी है कुछ न कुछ होता रहता है #News #NewsUpdate #newsfeed #newsbreakapp
Bihar News: विवादित बयानों के लिए मशहूर रहे केंद्रीय मंत्री और बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जीतनराम मांझी ने सीवान और सारण (छपरा) में शराब से लगभग तीन दर्जन लोगों की मौत के सवाल पर राज्य की 13-14 करोड़ आबादी का जिक्र करते हुए कहा है कि कुछ ना कुछ होता रहता है। इस तरह की घटना होती रहती है। दो साल पहले दिसंबर 2022 में जब छपरा में जहरीली शराब से 70 से ऊपर लोगों की मौत हो गई थी, तब राज्य में शराबबंदी…
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marketingstrategy1 · 2 years ago
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Gorakhpur News:गोरखपुर में बोले राजभर, शराबबंदी की लड़ाई सदन से लेकर सड़क तक लड़ेगी सुहेलदेव पार्टी - Omprakash Rajbhar National President Of Subhaspa In Gorakhpur
सुभासपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष ओमप्रकाश राजभर – फोटो : अमर उजाला। विस्तार सुभासपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष ओमप्रकाश राजभर ने रविवार को  महंत दिग्विजय नाथ पार्क में पार्टी द्वारा आयोजित ‘‘महिला हक-अधिकार महारैली’’ के माध्यम से प्रदेश में पूर्ण शराबबंदी का मुद्दा उठाया। कहा कि पार्टी इस लड़ाई को सदन से लेकर सड़क तक लड़ेगी। महिलाएं एकजुट हो जाएं तो बिहार व गुजरात की तरह यूपी में भी पूर्ण शराबबंदी हो सकती…
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worldinyourpalm · 2 years ago
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सूखे बिहार के सीवान जिले में ताजा जहरीली शराब से चार लोगों की मौत, एक दर्जन से अधिक बीमार | In a recent hooch catastrophe in Siwan, arid Bihar, four people pass away and over a dozen get sick;
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जहरीली शराब कांड में
इस घटना में छह लोगों की आंखों की रोशनी चली गई है जबकि 16 को गिरफ्तार किया गया है।
बिहार के सीवान जिले में हाल ही में जहरीली शराब कांड में कम से कम चार लोगों की मौत हो गई और एक दर्जन से अधिक गंभीर रूप से बीमार हो गए। इस घटना में छह लोगों की आंखों की रोशनी चली गई है जबकि 16 को गिरफ्तार किया गया है। अप्रैल 2016 में बिहार को ड्राई स्टेट घोषित किया गया था।
घटना सीवान जिले के भोपतपुर पंचायत के बाला गांव की है जहां ग्रामीणों ने 21 जनवरी को जहरीली शराब पी ली और रविवार की रात से उनकी हालत बिगड़ने लगी और उन्हें सीवान जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया।
सीवान जिला प्रशासन की ओर से जारी एक बयान के मुताबिक, 'सीवान जिला अस्पताल में शाम करीब 7 बजे कम से कम 10 लोगों को भर्ती कराया गया. एम। रविवार को पेट दर्द, जी मिचलाने और चक्कर आने की शिकायत के बाद। जिलाधिकारी अमित कुमार पांडेय ने कहा कि पोस्टमार्टम रिपोर्ट के बाद ही मौत के कारणों का पता चलेगा। 'हमने ग्रामीणों से भी बात की है और उनसे आग्रह किया है कि वे अपने क्षेत्र में अवैध शराब के कारोबार के बारे में निडर होकर रिपोर्ट करें। किसी भी मासूम को परेशान नहीं किया जाएगा और एक मेडिकल टीम गांव में डेरा डाले हुए है। एक जांच दल का गठन किया गया है और पोस्टमार्टम रिपोर्ट मिलने के बाद हम और अधिक जानकारी दे पाएंगे', श्री पांडे ने कहा।
जिले के एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी
नाम न छापने की शर्त पर जिले के एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने द हिंदू को स्वीकार किया कि कम से कम चार लोगों की मौत हो गई है और 14 सीवान, गोरखपुर (पूर्वी उत्तर प्रदेश में) और पटना के विभिन्न अस्पतालों में भर्ती हैं। हाल��ंकि, ग्रामीणों ने कहा कि सीवान में मरने वालों की संख्या सात हो गई है, जबकि छह लोगों की आंखों की रोशनी चली गई।
अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक जितेंद्र सिंह गंगवार ने कहा कि इस घटना में 16 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। आगे की जांच के लिए जिले के वरिष्ठ पुलिस अधिकारी गांव पहुंचे हैं। सैनेटाइजर बनाने के लिए कलकत्ता से स्पिरिट लाया गया था, जिसे 18 जनवरी को मुजफ्फरपुर से सीवान पहुंचाया गया था, श्री गंगवार ने मीडियाकर्मियों को बताया।
'मौत का आंकड़ा'
इस बीच, ग्रामीणों ने दावा किया कि मरने वालों की संख्या सात हो गई है और उन्होंने सीवान जहरीली शराब त्रासदी में मृतकों के नाम सूचीबद्ध किए हैं: सुरेंद्र रावत (30), नरेश रावत (42), धुरंधर मांझी (37), जनकदेव रावत (30)। , जितेंद्र मांझी (18), राजेश रावत (25) और राजू मांझी (35)। 'इन सभी ने अन्य ग्रामीणों के साथ स्थानीय स्तर पर जहरीली शराब पी थी और घर लौट आए थे। रविवार रात उनकी हालत बिगड़ गई और अगली सुबह तक उनकी मौत हो गई। उन्होंने कहा, 'इसके अलावा, कई ग्रामीणों की हालत गंभीर है और उन्हें विभिन्न अस्पतालों में भर्ती कराया गया है।'
इससे पहले दिसंबर 2022 में पड़ोसी जिले सारण में जहरीली शराब पीने से कम से कम 42 लोगों की मौत हो गई थी. राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (NHRC) ने जांच के लिए सारण घटना का स्वत: संज्ञान लिया था। इस घटना ने बिहार विधानसभा में भी राजनीतिक गतिरोध पैदा कर दिया था, विपक्षी भाजपा नेताओं ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के इस्तीफे की मांग की थी, क्योंकि उनकी सरकार राज्य में प्रभावी ढंग से शराबबंदी लागू करने में विफल रही थी। भाजपा नेताओं ने यह भी दावा किया कि सारण जहरीली शराब घटना में 100 से अधिक लोग मारे गए थे...
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